पूर्वांचल

अघोर पीठ बाबा कीनाराम स्थल में श्री सर्वेश्वरी समूह का 61वाँ स्थापना दिवस मनाया गया

वाराणसी21सितम्बर,2021: प्रधान कैम्प कार्यालय, रविन्द्रपुरी कालोनी स्थित अघोर शोध एवं सेवा संस्थान ,बाबा कीनाराम स्थल स्थित पर सर्वेश्वरी समूह का 61 वाँ स्थापना दिवस अघोराचार्य बाबा सिद्धार्थ गौतम राम जी के दिशा निर्देश पर समाजिक दूरी का पालन करते हुए मनाया गया । इसी क्रम श्री सर्वेश्वरी समूह का वरिष्ठ संस्थापक सदस्य उपाध्यक्ष श्री श्याम नारायण पाण्डेय जी द्वारा विधिविधान से कलश स्थापित कर एवं सर्वेश्वरी ध्वज के आरोहण के साथ किया गया। इस अवसर पर कीनाराम आश्रम से हरिश्चंद्र घाट और वहाँ से अस्सी घाट तक प्रभातफेरी निकाली गई, श्रमदान करके साफ-सफाई में योगदान दिवा गया तदुपरांत सफ़लयोनि का पाठ और दर्शन पूजन व प्रसाद वितरण किया गया जिसमें आश्रम के सदस्यों एवं अनुयायियों ने भरपूर सहयोग दिया । आज प्रातः काल से ही कीनाराम आश्रम में स्थापित विभिन्न समाधियों एवं परम पूज्य अघोरेश्वर की विभिन्न समाधियों का साज-सज्जा कर दर्शन पूजन किया गया ।

ज्ञातव्य हो कि समय और काल की आवश्यकता के अनुसार परम पूज्य अघोरेश्वर ने 21 सितम्बर 1961 को श्री सर्वेश्वरी समूह की स्थापना की। इसका उद्देश्य था मानवता और कल्याण की गतिविधियों को समाज में विस्तृत कर एक उदाहरण प्रस्तुत करना। श्री सर्वेश्वरी समूह एक सामाजिक और आध्यात्मिक संस्था है जो लोगों के आध्यात्मिक मुक्ति, विकास, प्रगति और उनके कल्याण के लिए समर्पित है। समूह निर्धन लोगों के सामाजिक उत्थान और उन्हें आध्यात्मिक विकास की ओर ले जाने वाली संस्था है। समूह के द्वारा चलाए जा रहे कार्यक्रमों का एक महत्वपूर्ण पक्ष यह है कि अब भी समूह भारत के पिछड़े हुये निर्धन लोगों के जीवन को संवारता है, उनके लिए कार्य करता है।

सर्वेश्वरी समूह का 61वें स्थापना दिवस अघोराचार्य बाबा सिद्धार्थ गौतम राम जी ने एक वीडियो संदेश में बताया कि सर्वेश्वरी समूह एक मानवता और एक भगवान में विश्वास रखता है। एक ही माता की संतान होने के कारण हम सभी को बिना किसी संघर्ष के शांति, समृद्धि, एकरूपता और प्रसन्नता के लिए सामूहिक रूप से आगे बढ़ना चाहिए।

अपने उद्देश्य की प्राप्ति के लिए समूह ने उन्नीस सूत्री कार्यक्रम अपनाया है:-जिसमें

1.विकलांग एवं कुष्ठ रोगियों की सेवा करना

2. विप्पत्ति से घिरे हुए व्यक्तियों को अपेक्षित स्नेह व् सहयोग देना

3. देश में प्राकृतिक या दैविक आपदा से प्रभावित लोगों को भोजन, वस्त्र, औषधि आदि से तत्काल सहायता करना

4. विकलांग, गूंगे व नेत्रहीनो को स्वावलंबी बनाना।

5. एक कोष स्थापित करके मन्दिर, मस्जिद व गिरिजाघरों में यथा समय झाडू पहुंचाना।

6. समूह के सदस्यों द्वारा नेत्रहीन सहायता कोष स्थापित करके नेत्र बनवाने का यज्ञ प्रारंभ करना तथा अंधों को घुंघरूदार लाठियां देना ।

7. निकटस्थ साधु व फकीरों की कुटिया में झाडू व साग सब्जी के बीज पहुंचाना।

8. एक कोष स्थापित करके गर्मियों में अस्पताल, धार्मिक एवं सामाजिक स्थानों पर मरीजों को ताड़ के पत्ते के हाथ-पंखे पहुंचाना।

9. पुराने वस्त्रों को दान में एकत्रित कर उन्हें कीटाणु मुक्त करके एक वस्त्र कोष बनाकर अकाल, बाढ़, भूकम्प पीड़ितों के बीच वितरित करना।

10. बच्चों के उत्थान, चरित्र निर्माण एवं राष्ट्रीय भावना के विकास हेतु श्री सर्वेश्वरी समूह प्राथमिक विद्यालय या बाल वाटिका की स्थापना करना।

11. विवाह मंडप की स्थापना करना जिसमें किसी भी अनावश्यकय व्यय की आवश्यकता नहीं हो।

12. दैविक या प्राकृतिक आपदा के समय वहां के जनता की सहायता हेतु तत्पर रहना।

13. अनाथ बच्चे चाहे वह किसी धर्म, जाति या देश के क्यों न हो, उन्हें सुसंस्कृत एवं स्वावलंबी बनाने में पूरी सहायता करना।

14. कुम्भ मेले या बड़े नगरों में सामूहिक शीत निवारण हेतु जगह-जगह पर अलाव हेतु लकड़ियों की व्यवस्था करना।

15. कोई निर्धन अभ्यागत मर जाये तो उसे जलाने या कफन के लिए कोष स्थापित करना।

16. प्रत्येक जिला व तहसील स्तर पर सस्ती चिकित्सा की व्यवस्था करना।

17: देश में आये आंतरिक या बाह्य संकट हेतु एक स्वयं सेवक दल एवं कोष की स्थापना करना।

18: नव जीवन अस्पताल खोलना एवं गर्भवती महिलाओं हेतु दवा, भोजन व वस्त्र की यथा शक्ति व्यवस्था करना।

19: तूफान, भूकम्प या प्राकृतिक आपदा, चक्रवात के समय सहयोग देना। स्थानीय स्तर पर इसके लिए कोष की स्थापना करना।

उक्त अवसर पर अघोर सेवा आश्रम के सदस्यों एवं अनुयायिओं ने अपने-अपने घरों पर सर्वेश्वरी ध्वज फहरा कर उक्त 19 सूत्रीय संकल्प को दोहराया ।

*!! जय माँ गुरू-जय माँ सर्वेश्वरी !!*

Prabandh Sampadak chandrashekhar Singh

Prabhand Sampadak Of Upbhokta ki Aawaj.

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