प्रयागराज उपद्रव में दिखा कश्मीर उपद्रव का दृश्य,बच्चों को आगे करके पुलिस पर किया गया पथराव
12जून2022
यूपी के जनपद प्रयागराज में जुमे की नमाज के बाद हुए उपद्रव के बाद से अटाला का पुराने शहर का इलाका छावनी में तब्दील हो गया है। पीएसी के अलावा आरपीएफ की टुकडियां और भारी संख्या में पुलिसकर्मी और दंगा नियंत्रित करने वाली कंपनी सड़क पर तैनात है। किसी भी संभावित सभा को रोकने के लिए गलियों में पुलिस की गश्त जारी है। अटाला और आसपास के इलाके में दुकानें भी बंद हैं। पुलिस ने प्रभावित इलाके की तरफ से रूट भी डायवर्ट कर दिया है। इलाके में अब भी धारा 144 लागू है। प्रयागराज के जिलाधिकारी संजय कुमार खत्री के मुताबिक स्थिति सामान्य बनी हुई है। हमने सभी से शांति बनाए रखने की अपील की है और एहतियात के तौर पर धारा 144 जारी है। खुल्दाबाद के अटाला, करेली और आसपास के इलाकों में पीएसी और आरएएफ की अतिरिक्त कंपनियों को तैनात किया गया है। लोगों से बार-बार शांति बनाए रखने को कहा जा रहा है। किसी भी अप्रिय स्थिति से निपटने के लिए पुराने शहर के प्रभावित और आसपास के इलाकों में चार मजिस्ट्रेट भी तैनात किए गए हैं।
प्रयागराज रेंज के आईजी राकेश सिंह के मुताबिक अब तक हिंसा में शामिल लगभग 65 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इसके अलावा घटना की वीडियो रिकॉर्डिंग और सीसीटीवी फुटेज की मदद से हिंसा में शामिल बाकी लोगों की पहचान की कोशिश की जा रही है, ताकि और गिरफ्तारियां हो सकें। पुलिस ने 1000 लोगों के खिलाफ दंगा, आगजनी, धारा 144 का उल्लंघन करने, सरकारी काम में बाधा डालने, पुलिस कर्मियों पर हमला करने और सरकारी और सार्वजनिक संपत्तियों को नुकसान पहुंचाने के आरोप में मामला दर्ज किया है। इस मामले में दो एफआईआर खुल्दाबाद पुलिस स्टेशन और एक एफआईआर करेली में दर्ज की गई है। गिरफ्तार लोगों से पूछताछ की जा रही है और उनसे पूछताछ के आधार पर उनके साथियों को भी गिरफ्तार किया जाएगा। हिंसा की घटना में शामिल लोगों पर राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम (एनएसए) सहित बाकी धाराओं में केस चलाया जाएगा।
25 ट्रक भरकर उठाए गए पत्थर
इस बीच अटाला इलाके में रात भर ऑपरेशन की सफाई जारी रही जहां शनिवार को हिंसक भीड़ द्वारा भारी ईंट-पत्थरबाजी और आगजनी की गई थी। प्रयागराज नगर निगम की मदद से क्षेत्र से 25 ट्रक पत्थर और ईंट और दूसरा कचरा उठाया गया। इलाके को साफ करने के लिए अधिकारियों को जेसीबी मशीन और 50 सफाई कर्मचारियों की टीम लगानी पड़ी। गौरतलब है कि बीजेपी की पूर्व प्रवक्ता नूपुर शर्मा के बयान को लेकर प्रयागराज के पुराने शहर क्षेत्र में अटाला और उसके आसपास के इलाकों में हिंसा भड़क उठी थी। शुक्रवार को बंद के आह्वान पर पुलिस अलर्ट पर थी और संवेदनशील स्थानों पर सुरक्षा के व्यापक इंतजाम किए गए थे। स्थानीय धर्मगुरुओं की अपील और जिला अधिकारियों द्वारा जारी चेतावनी के बावजूद बड़ी संख्या में युवा अटाला में जुमे की नमाज के बाद इकट्ठा हुए और नूपुर शर्मा के खिलाफ कार्रवाई की मांग की।
प्रयागराज में दिखा कश्मीर उपद्रव का दृश्य
कानपुर बवाल के बाद अटाला में बवाल की पटकथा लिखी गई। तैयारी पूरी थी, बवाल के दौरान कश्मीर जैसा दृश्य दिखा। कश्मीर जैसा ही पथराव। बच्चों को आगे करके पुलिस पर पथराव कराया गया। क्रिकेट का बैट-बल्ला पकड़ने वाले अटाला के छोटे-छोटे बच्चे शुक्रवार को जुमे की नजाम के बाद पथराव कर रहे थे। उनके हाथों में पत्थर थमा दिया गया था। बदले की भाषा बोल रहे थे। उन्हें पता भी नहीं होगा कि वे क्या कर रहे हैं लेकिन जैसे ही खाकी सामने दिख रही थी, सामने से पथराव करने लग रहे थे। यह सीन हैरान कर देने वाला था, वही जानकारों का कहना है कि कानपुर में हुए बवाल के बाद सभी ने शांति की अपील की थी लेकिन यहां आग लगाने की साजिश रची जा रही थी। धीरे-धीरे छोटे-छोटे बच्चों को तैयार करके बवाल के लिए सामने ला दिया। जैसे ही बच्चों ने पथराव किया तो पुलिस भड़क उठी। लाठी चार्ज करना पड़ा। इसके बाद माहौल बिगड़ता चला गया।