पूर्वांचल

हाय हाय पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम ,भ्रष्टाचार के इतिहास का एतिहासिक कारनामा हुआ पूर्वांचल के जानपद मे

  1. वाराणसी 12 सितम्बर किसी को अगर भ्रष्टाचार के तरीके सीखने हो तो वह पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम के मशहूर चाँदी के जूता खोर अधीक्षण अभियन्ता जानपद की शागिर्दगी मे चला जाऐ और तो और भ्रष्टाचार कर के उससे कैसे बचा जाऐ उसके भी तरीके आपको मशहूर चाँदी के जूता खोर अधीक्षण अभियन्ता जानपद से सीख सकता है जो आज तक जानपद स्कंध के इतिहास में नही हुआ वो पूर्वांचल के जानपद स्कंध ने कर दिखाया वैसे तो भ्रष्टाचार के उदाहरण लखनऊ मे भी कम नही है परन्तु खुलते कम है वैसेउत्तर प्रदेश पावर कारपोरेशन लि0 के जानपद स्कंध के चतुर्थ श्रेणी के, कर्मचारी जो कि श्रमिक पद पर नियुक्त होते है वे श्रमिक पद से ही सेवानिवृत्त हो जाते है। पारेषण और वितरण स्कंध में श्रमिक कर्मचारी तकनीशियन ग्रेड-2/ तकनीशियन (विद्युत) पद पर पदोन्नत हो जाता है लेकिन इसके विपरीत जानपद स्कन्ध का श्रमिक पद का कर्मचारी श्रमिक पद से ही सेवानिवृत्त हो जाता है क्योंकि जानपद (सिविल) स्कन्ध में तकनीशियन (विद्युत) का पद स्वीकृत नही होता है। इस पद की कोई उपयोगिता सिविल विंग में नही है। अब ऐसे बेसहारा कर्मचारियों के लिए कृष्ण मोहन राव, अधीक्षण अभियंता, विद्युत जानपद मण्डल (वितरण), वाराणसी एक भगवान के रूप में अवतरित होकर सारे सेवा विनियमावली को दरकिनार करते हुए अपने प्रिय शगल यानि चाँदी के जूते की पिटाई करवा कर विद्युत पोल निर्माण खण्ड, वाराणसी में कार्यरत मनीष कुमार वर्मा, श्रमिक को टी0जी-2 (विद्युत) पद पर पदोन्नत करते है। मनीष वर्मा द्वारा पोल निर्माण खंड, वाराणसी में कार्यालय सहायक का कार्य किया जाता है। जबकि कारपोरेशन का स्पष्ट आदेश है कि टी0 जी0-2 कर्मचारियों से उनके मूल कार्य *उपकेंद्र परिचालन* के अतिरिक्त कोई अन्य कार्य न लिया जाये, इसके विपरीत के0 एम0 राव, अधीक्षण अभियंता द्वारा मनीष कुमार वर्मा से कार्यालय सहायक का कार्य लिया जा रहा है। इतना ही नही उनके द्वारा अपने कार्यालय पत्रांक-1618/वि0 जा0 मं0 (वि0) दिनाँक- 22/07/2021 द्वारा मनीष वर्मा को पोल खण्ड, वाराणसी के अलावा विद्युत जानपद वितरण खण्ड, वाराणसी में निविदा संबंधी कार्य जो कि विशुद्ध कार्यालय सहायक का कार्य है का भी अतिरिक्त प्रभार का आवंटन किया जाता है।

के0 एम0 राव, अधीक्षण अभियंता ने ये एक ऐसी नजीर स्थापित की है जिसके सहारे पूरे UPPCL के जानपद स्कन्ध के श्रमिक कर्मचारी तकनीशियन (विद्युत) पद पर पदोन्नति हेतु अध्यक्ष, उ0 प्र0 पावर कारपोरेशन लि0 और मुख्य अभियंता (जल विद्युत) के समक्ष मांग कर रहे है। वैसे यह कारनामा एक नजीर भर है भ्रष्टाचारी अधीक्षण अभियन्ता की इस पर जब तक जाँच होगी या कुछ कार्यवाही होगी तब तक यह मशहूर चाँदी के जूता खोर अधीक्षण अभियन्ता सेवानिवृत्ति हो अपने सारे फण्ड आदि ले कर इस कार्पोरेशन को अलविदा कह गए होगे मरेगा वो जो इनके बहकावे मे आ कर इनकी सेवा कर कुछ मेवा खाने की उम्मीद मे है वैसे भी प्रबंधन ने इनके सारे भ्रष्टाचारी गुनाहो को माफ मात्र एक इनक्रीमेट बैक करने की सजा दी है यानि जिन्दगी भर भ्रष्टाचार करो अपने भ्रष्टाचार की फाईले दबवाओ फिर सेवानिवृत्ति से पहले चाँदी का जूता चला कर कुछ छोटी मोटी सजा पालो और पद्दोनती पा कर सेवानिवृत्ति पा कर मौज करो । वैसे इसमे शक्ति भवन मे बैठे बडे अधिकारियों का भी आशीर्वाद शामिल हैं वो बाद मे । खैर

 

युद्ध अभी शेष है

Prabandh Sampadak chandrashekhar Singh

Prabhand Sampadak Of Upbhokta ki Aawaj.

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