नागालैंड हिंसा: FIR में नामजद आर्मी यूनिट, टीएमसी प्रतिनिधिमंडल आज करेगा राज्य का दौरा
नई दिल्ली6दिसंबर: नगालैंड के मोन जिले में सुरक्षाबलों द्वारा आम नागरिकों पर फायरिंग के सिलसिले में पुलिस ने भारतीय सेना के 21 पैरा विशेष बलों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है। नगालैंड पुलिस ने आर्मी यूनिट के खिलाफ अपनी प्राथमिकी में आरोप लगाया है कि सेना के 21 पैरा स्पेशल बलों ने असम सीमा के पास नागालैंड के मोन जिले के ओटिंग में अंधाधूंध फायरिंग की, जिसके परिणामस्वरूप 13 ग्रामीणों की मौत हो गई। एफआईआर में पुलिस ने आरोप लगाया है कि सुरक्षा बलों का इरादा नागरिकों की हत्या करना और उन्हें घायल करना था।
एनडीटीवी ने दावा किया है कि उसके पास एफआईआर की कॉपी है। राज्य पुलिस द्वारा दायर प्राथमिकी में कहा गया है, ‘यह ध्यान दिया जाना चाहिए कि घटना के समय कोई पुलिस गाइड नहीं था और न ही सुरक्षा बलों ने उग्रवादियों के खिलाफ अपने ऑपरेशन के लिए गाइड प्रदान करने के लिए पुलिस थाने से मांग की थी। इसलिए यह स्पष्ट है कि सुरक्षा बलों का इरादा नागरिकों की हत्या करना और उन्हें घायल करना ही था।’ बता दें कि इस मामले में राज्य सरकार की ओर से एसआईटी टीम गठित कर दी गई है।
बता दें कि नगालैंड के मोन जिले में एक के बाद एक गोलीबारी की तीन घटनाओं में सुरक्षाबलों की गोलियों से कम से कम 13 लोगों की मौत हो गई, जबकि 11 अन्य घायल हो गए। पुलिस ने रविवार को बताया कि गोलीबारी की पहली घटना संभवत: गलत पहचान का मामला थी। इसके बाद हुए दंगों में एक सैनिक की भी मौत हो गई। गोलीबारी की पहली घटना तब हुई जब शनिवार शाम कुछ कोयला खदान कर्मी एक पिकअप वैन में सवार होकर गाना गाते हुए घर लौट रहे थे। सेना के जवानों को प्रतिबंधित संगठन नेशनल सोशलिस्ट काउंसिल ऑफ नागालैंड-के (एनएससीएन-के) के युंग ओंग धड़े के उग्रवादियों की गतिविधि की सूचना मिली थी और इसी गलतफहमी में इलाके में अभियान चला रहे सैन्यकर्मियों ने वाहन पर कथित रूप से गोलीबारी की, जिसमें छह मजदूरों की जान चली गई।